इस आर्टिकल में हम fox nuts या मखाना या कमल के बीज आदि नामों से जाने वाले फूड मखाना के फायदे, इस्तेमाल करने का तरीका और इससे जुड़ी खास बातों के बारे में जानेंगे। मखाने में कितना प्रोटीन मिलता है, कितना कार्बोहाइड्रट होता है, और इससे क्या क्या दूसरे पोशाक तत्व मिल सकते हैं। मखाने की अजीब सी बाहरी सतह को देखकर कोई भी ये सोचने लग जाएगा, कि मखाना कैसे बनता होगा, या क्या मखाना नामक ये ड्राइ फ्रूट किसी विधि द्वारा बनाया जाता है। तो चलिए जानते हैं, मखाना के बारे में पूरी डीटेल में।
दोस्तों, क्या आप जानते हैं, हमारा शरीर असंख्य कोशिकाओं से मिलकर बना है, कोशिकाओं से ऊतकों का, ऊतकों से अंगों का और अंगों से मिलकर शरीर के विभिन्न तंत्रों का निर्माण होता है। हमारे शरीर में विभिन्न प्रकार के तंत्र या संसथान जैसे डाइजेस्टिव सिस्टम, सर्कुलेटरी सिस्टम, एक्सक्रीटरी या उत्सर्जन तंत्र, मस्कुलर सिस्टम, स्केलेटन सिस्टम, नर्वस सिस्टम आदि होते हैं जो एक विशेष प्रकार का कार्य करने के लिए स्पेशलाइज्ड होते हैं। बॉडी के विभिन्न सिस्टम्स में से एक महत्वपूर्ण तंत्र होता है इम्यून सिस्टम या रोग प्रतिरोधक तंत्र, इम्यून सिस्टम का काम शरीर को विभिन्न रोगों के आक्रमण से बचाना और pathogenic substances से लड़ने के लिए के लिए मज़बूत बनाना होता है। इम्यून सिस्टम कुछ विशेष कोशिकाओं, ऊतकों और अंगों का समूह होता है जो शरीर को आंतरिक रूप से मज़बूत से बनाता है और यह तो हम जानते ही हैं इम्युनिटी पर ही depend करता है कि कोई व्यक्ति कितनी जल्दी बीमार पड़ता है। पहले immunity शब्द काफी fancy sound करता था, ज़्यादा लोगों को इसके बारे में जानकारी भी नहीं थी लेकिन कोरोना काल के बाद इम्यून सिस्टम और इम्युनिटी वर्ड काफी चर्चा में है क्योंकि researches में सामने आया है कि भारत में करीब 2.8 परसेंट लोग कोविद 19 से प्रभावित नहीं हुए उसकी बड़ी वजह उन लोगों की मज़बूत इम्युनिटी ही था।
तो strong immune system की इम्पोर्टेंस तो अब समझ ही गए हैं, अब सवाल आता है कि कैसे नैचुरली शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बूस्ट किया जाए जिससे बीमारियों से भी बचा जा सके और ओवरआल हेल्थ भी इम्प्रूव हो। गाइस, नैचुरली बॉडी की इम्यून पावर को बढ़ाने का सबसे अच्छा तरीका अपनी डाइट में ड्राई फ्रूट्स को शामिल करना होता है क्योंकि इनमें कुछ ख़ास एसेंशियल ऑयल्स, विटामिन, मिनरल और अन्य पोषक तत्व होते हैं तो शरीर को सेहतमंद बनाये रखने में लाभदायक होते हैं। इन्ही सूखे मेवों में से एक पावरफुल इंग्रेडिएंट के बारे में हम आज बात करने वाले हैं जो कई औषधिये गुणों से भरपूर होता है और अपने स्वास्थ्य लाभों के कारण विभिन्न प्रकार की आयुर्वेदिक दवाओं को बनाने में इस्तेमाल किया जाता है।

मखाना के बारे में सामान्य जानकारी
फ्रेंड्स, हम बात कर रहे हैं मखाने के बारे में जिसे fox nut या कमल के बीज के नाम से भी जाना जाता है, मखाने के पौधे का वैज्ञानिक नाम Euryale ferox है, यह Nymphaeaceae फैमिली से सम्बंधित है और इस पौधे को prickly waterlily या Gorgon plant भी कहा जाता है। मखाने के पौधे को तालाबों या पोखरों में उगाया जाता है, इसकी खेती के लिए गर्म जलवायु और ज़्यादा पानी की आवश्यकता होती है और यह southern और eastern Asia में अधिकतर देखने को मिलता है।
भारत में यह असम, मेघालय, त्रिपुरा, गोरखपुर, अलवर और ओडिसा आदि राज्यों में बहुतायत से देखने को मिलता है और यह सबसे ज़यादारा बिहार में उगाया जाता है। मखाने का पौधा कांटेदार और कमल के सामान होता हैं, इसकी पत्ते गोलाकार होते हैं जो ऊपर से देखने पर हरे रंग के होते हैं जबकि नीचे से इनका रंग लाल या बैंगनी होता है। मखाने के फल गोल और कांटेदार होते हैं और इसके बीज मटर के आकार के या उससे कुछ बड़े होते हैं, इन बीजों को ही मखाना कहा जाता है जिन्हें रेत में भूनकर edible रुप में तैयार किया जाता है। मखाने का प्रयोग मिठाइयां बनाने में, धार्मिक संस्कारों में और उपवास में किया जाता है, साथ ही पुरुषों का यौन स्वास्थ्य सुधारने वाली मेडिसिन्स में इन्हे ज़्यादातर इस्तेमाल किया जाता है।
मखाने में पाए जाने वाले पोषक तत्व
मखाने मधुर प्रभाव वाले होते हैं व इनकी तासीर ठंडी होती है इसी कारण इन्हे गर्मी और सर्दी दोनों मौसम में खाया जा सकता है, मखाने की नुट्रिएंट प्रोफाइल की बात करें तो इनमें प्रोटीन, फाइबर, कार्बोहाइड्रेट्स, मैग्नेशियम, कैल्शियम, एनर्जी व फाइबर अच्छी मात्रा में होता है, इसके साथ ही इनमें एंटी ऑक्सीडेंट, एंटी इंफ्लेमेटरी, एंटी बैक्टीरियल, एंटी एजिंग आदि गुण भी मौजूद होते हैं। मखाने कोलेस्ट्रॉल नियंत्रण और ह्रदय रोगियों के लिए फायदेमंद होते हैं क्योंकि इनमें कोलेस्ट्रॉल और सोडियम अल्प मात्रा में होते हैं, और एक खास विशेषता जिसकी वजह से इस मल्टी फंक्शनल फ़ूड स्टफ को लोग अपनी डाइट में शामिल करना प्रेफर करते हैं, वो है मखाने का ग्लूटन फ्री होना। आजकल ग्लूटेन फ्री डाइट बहुत चर्चा में है, जो लोग वेट मैनेजमेंट करने के लिए डाइट फॉलो करते हैं वो इसे अपने फुल डे मील प्लान में as a healthy snack ज़रूर include करते हैं क्योंकि ग्लूटन फ्री आहार वज़न नियंत्रित करने में अच्छा माना जाता है। अब आप सोच रहे होंगे ये ग्लूटन क्या होता है, दोस्तों ग्लूटन एक प्रकार का प्रोटीन होता है जो गेंहू, सूजी , जौ और राई आदि cereals में पाया जाता है और रोटियों के फूलने व लचीलेपन के लिए ग्लूटन ही रेस्पोंसिबल होता है। ऐसा नहीं है कि ग्लूटन सेहत के लिए हानिकारक होता है, लेकिन जो लोग अपने आहार में कार्ब्स का इन्टेक कम करना चाहते हैं, अपने शरीर में कम कैलोरीज स्टोर रखना चाहते और वेट कम करना चाहते है वो ग्लूटन फ्री खाने का इस्तेमाल करते हैं।
मखाना खाने के अद्भुत फायदे – Fox Seed / Fox Nut Health Benefits in Hindi
मेल सेक्स हेल्थ इम्प्रूव करता है
क्या मखाना मर्दाना ताकत बढ़ाता है, क्या इससे पौरुष दुर्बलता दूर होती है।
अपने देखा भी होगा बहुत सी सेक्सुअल प्रॉब्लम्स को ट्रीट करने वाली आयुर्वेदिक दवाओं में मखाने का इस्तेमाल किया जाता है। इसका कारण यही है कई यह libido बूस्ट करता है, पुरुष के शरीर में सेक्स हॉर्मोन टेस्टोस्टेरोन को बढ़ाता है, वीर्ये दोषों को दूर करता है और लिंग सम्बन्धी दोषों को भी ठीक करता है। कुछ पुरुष शारीरिक कमज़ोरी के कारण सेक्सुअली अच्छा परफॉर्म नहीं कर पाते हैं ऐसे में मखाने का सेवन करने से लाभ होगा, क्योंकि यह शरीर को ताकत देता है, मांसपेशियों के विकास में सहायता करता है, हार्मोनल इम्बैलेंस ठीक करता है, सेक्स ऑर्गन्स में ब्लड सर्कुलेशन इम्प्रूव करता है। और इस तरह हम कह सकते हैं कई पुरुषों कई कई सारी सेक्स प्रोब्लेम्स के लिए ये एक ओने स्टॉप सलूशन कई तरह काम कर सकता है, 10-12 मखाने नियम से आप रात को दूध के साथ सोने से पहले लेंगे तो आपको जल्दी अच्छा रिजल्ट देखने को मिलेगा।

महिलाओं के लिए फयदेमंद
क्या मखाना स्त्री रोगों में फायदेमंद हो सकता है। क्या मखाना के सेवन से महिलाओं का स्वास्थ्य जैसे मासिक धर्म, यौन स्वास्थ्य, गर्भाधान आदि में लाभ मिलता है।
महिलाओं में प्रसव के बाद आयी कमज़ोरी दूर करने के लिए उन्हें पंजीरी, लड्डू आदि में मिलाकर मखाने खिलाये जाते हैं, गर्भावस्था में भी मखाने खाना फायदेमंद होता है क्योंकि इससे शरीर को ताकत मिलती है और गर्भस्थ शिशु के विकास में भी ये सहायक है। महिलाओं में मखाने यौन इच्छा बढ़ाते हैं, गर्भधारण में सहायक है, कमर और पेल्विक फ्लोर मसल्स को शक्ति देते हैं और इस तरह मखाने महिलाओं में कमर दर्द, हड्डियों व जोड़ो में दर्द को ठीक करने का एक नेचुरल उपाय है।
वेट मैनेजमेंट में सहायक
क्या मखाना वज़न घटाने में सहायक होता है, क्या मखाना के सेवन से पेट पर जमा चर्बी कम होती है। क्या खाना weight loss में फायदेमंद है।
मखाने एनर्जी का अच्छा सोर्स है और फैट बहुत कम मात्रा में होता है, रोज़ सुबह खाली पेट थोड़े मखाने से आपके शरीर को ताकत मिलती है और चूँकि इसमें फाइबर अच्छी मात्रा में होता है तो आपको लम्बे समय तक full फ़ील होता है, भूख का एहसास नहीं होता और इस तरह आपका फ़ूड इन्टेक कम हो जाता है। । मखाने खाने से वज़न कम होता है साथ ही यह पेट कई विभिन्न प्रोब्लेम्स जैसे अपच, ब्लोटिंग, कॉन्स्टिपेशन आदि में भी लाभदायक है।
क्या मखाना शुगर या डायबिटीज में फायदेमंद है
मखाने खाने से ब्लड ग्लूकोस लेवल नियंत्रित रहता है, इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स (GI) कम होता है जिसके कारण ये मधुमेह के रोगियों के लिए एक अच्छा ऑप्शन है जो खाने में भी अच्छा होता है और उन्हें हेल्थ बेनिफिट्स भी प्रोवाइड कराता है। दोस्तों, ग्लाइसेमिक इंडेक्स एक तरह का पैमाना या स्केल होता है जो यह बताता है कोई फ़ूड स्टफ कितनी देर में ग्लूकोस में कन्वर्ट होकर ब्लड में अब्सॉर्ब होता है। यह तो हम जानते हैं कि कार्बोहाइड्रेट्स मेटाबोलाइज़ होकर लास्ट में ग्लूकोस की फॉर्म में बॉडी को अवेलेबल होते हैं और फिर यह ग्लूकोस शरीर क़े द्वारा विभिन्न एक्टिविटीज में उपयोग किया जाता है। चूँकि डायबिटिक पेशेंट्स में इन्सुलिन की कमी होती है, इसलिए उनके लिए ऐसे भोज्य पदार्थ बेनेफिशियल होते हैं जो धीरे धीरे ग्लूकोस में कन्वर्ट हों, यानी जिनका GI कम हो। मखाने खाने से ब्लड ग्लूकोस लेवल तो कण्ट्रोल रहता ही है साथ ही यह अग्नाशय में हुए डैमेज, सूजन आदि को ठीक करने लिए भी एक अच्छा उपाय है।
Wheat intolerance या Celiac Disease के लिए अच्छा विकल्प
Wheat intolerance या celiac disease एक प्रकार की ग्लूटन एलर्जी है जिसमे व्यक्ति कई आंत की म्यूकोसल लेयर में छेद हो जाते हैं, खाना नहीं पचता, गैस, कब्ज़, एक्जिमा, माइग्रेन, थकान, गले में इन्फेक्शन, इम्युनिटी कमज़ोर होना आदि समस्याएं होती हैं। इस प्रकार की प्रॉब्लम में मखाने का उपयोग करना फायदेमंद है, यह सुपाच्चय होते हैं, बॉडी को energize रखते हैं, आंतों कई सफाई करके कब्ज़ होने से रोकते हैं और इन्हें खाने से किसी तरह कई एलर्जी भी नहीं होती है।
अच्छी नींद के लिए उपयोगी
मखाने में एंटी ऑक्सीडेंट गुण होते हैं जो दिमाग शांत करते हैं, फ्री रेडिकल डैमेज से सुरक्षा करते हैं और तनाव के प्रभाव को कम करते हैं। मखाने कॉग्निटिव डेवलपमेंट के लिए भी अच्छे माने जाते हैं, यह याद्दाश्त बढ़ाते हैं और डिप्रेशन व एंग्जायटी को दूर करते हैं। बेहतर नींद के लिए आप रोज़ाना सोने से पहले दूध के साथ कुछ मखाने खा सकते हैं।
सूजन कम करते हैं
मखाने में एंटी इंफ्लेमेटरी प्रॉपर्टीज होती हैं, इसी कारण ये शरीर के विभिन्न अंगों जैसे मसूड़े, जोड़, पेट, लिवर, माँसपेशिये सूजन आदि को कम करते हैं और दर्द में relief देते हैं।
अन्य लाभ
- मखाने में मौजूद कैमेफेरोल फ्लेवोनॉइड अर्ली एजिंग को रोकते हैं।
- मखाने किडनी हेल्थ इम्प्रूव करने में सहायक है।
- मखाने खून की कमी को दूर करते हैं।
- मखाने ब्लड प्रेशर और ब्लड कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने में सहायक है।
- मखाने की पत्तियों का इस्तेमाल गठिया रोग के उपचार में किया जाता है।
- मखाने हड्डियों और दाँतों को मज़बूत बनाते हैं।
- मखाने के पौधे के कंद का प्रयोग पीलिया के उपचार के लिए किया जाता है।
मखाना कैसे खाएं – Makhana khane ka tarika
मखाने को आप थोड़े से देसी घी में भूनकर मुट्ठी भर रोज़ाना खालीपेट खा सकते हैं, वेट लोस्स के पर्पस से जो लोग इसे use करना चाहते है वो ड्राई रोस्ट करके खा सकते हैं। पुरुषों की सेक्स प्रोब्लेम्स के लिए रात को दूध से मखाने खाने चाहिए, साथ ही insomnia के पेशेंट भी रात को सोने से पहले ही इनका सेवन करें। आप चाहें तो एक बार डॉक्टर से भी कंसल्ट कर सकते हैं, जिससे आपकी शारीरिक स्थिति के अनुसार वो आपको मखाने इस्तेमाल करने का सही तरीका बता पाएं।
साइड इफ़ेक्ट- ‘excess of everything is bad’ इसीलिए एक निर्धारित मात्रा में ही किसी भी चीज़ का सेवन करना चाहिए। कई बार लोग ज़्यादा मात्रा में मखाने का सेवन करने लगते हैं या फिर कुछ लोगों को hypersensitivity होती है तो उन लोगों में कुछ दुष्प्रभाव देखने को मिल सकते हैं जैसे-
- सेल कॉन्ट्रेक्शन
- ब्लोटिंग
- एलर्जिक रिएक्शन
- डिहाइड्रेशन
- बेचैनी